श्री कृष्ण सहस्त्र नामावली
ॐ कृष्णाय नमः |
ॐ श्रीवल्लभाय नमः |
शार्ङ्गिणे नमः |
ॐ विष्वक्सेनाय नमः |
ॐ स्वसिद्धिदाय नमः |
ॐ क्षीरोदधाम्ने नमः |...
ॐ व्यूहेशाय नमः |
ॐ शेषशायिने नमः |
ॐ जगन्मयाय नमः |
ॐ भक्तिगम्याय नमः || १० ||
ॐ त्रयीमूर्तये नमः |
ॐ भारार्तवसुधस्तुताय नमः |
ॐ देवदेवाय नमः |
ॐ दयासिन्धवे नमः |
ॐ देवाय नमः |
ॐ देवशिखामणये नमः |
ॐ सुखभावाय नमः |
ॐ सुखाधाराय नमः |
ॐ मुकुन्दाय नमः |
ॐ मुदिताशयाय नमः || २० ||
ॐ अविक्रियाय नमः |
ॐ क्रियामूर्तये नमः |
ॐ अध्यात्मस्वस्वरूपवते नमः |
ॐ शिष्टाभिलक्ष्याय नमः |
ॐ भूतात्मने नमः |
ॐ धर्मत्राणार्थचेष्टिताय नमः |
ॐ अन्तर्यामिणे नमः |
ॐ कलारूपाय नमः |
ॐ कालावयवसाक्षिकाय नमः |
ॐ वसुधायासहरणाय नमः || ३० ||
ॐ नारदप्रेरणोन्मुखाय नमः |
ॐ प्रभूष्णवे नमः |
ॐ नारदोद्गीताय नमः |
ॐ लोकरक्षापरायणाय नमः |
ॐ रौहिणेयकृतानन्दाय नमः |
ॐ योगज्ञाननियोजकाय नमः |
ॐ महागुहान्तर्निक्षिप्ताय नमः |,......
ॐ पुराणवपुषे नमः |
ॐ आत्मवते नमः |
ॐ शूरवंशैकधिये नमः || ४० ||
ॐ शौरये नमः |
ॐ कंसशंकाविषादकृते नमः |
ॐ वासुदेवोल्लसच्छत्कये नमः |
ॐ देवक्यष्टमगर्भगाय नमः |
ॐ वसुदेवस्तुताय नमः |
ॐ श्रीमते नमः |
ॐ देवकीनन्दनाय नमः |
ॐ हरये नमः |
ॐ आश्चर्यबालाय नमः |
ॐ श्रीवत्सलक्ष्मवक्षसे नमः || ५० ||
ॐ चतुर्भुजाय नमः |
ॐ स्वभावोत्कृष्टसद्भावाय नमः |
ॐ कृष्णाष्टम्यन्तसम्भवाय नमः |
ॐ प्राजापत्यर्क्षसम्भूताय नमः |
ॐ निशीथसमयोदिताय नमः |
ॐ शंखचक्रगदापद्मपाणये नमः |
ॐ पद्मनिभेक्षणाय नमः |
ॐ किरीटिने नमः |
ॐ कौस्तुभोरस्काय नमः |
ॐ स्फुरन्मकरकुण्डलाय नमः || ६० ||
ॐ पीतवाससे नमः |
ॐ धनश्यामाय नमः |
ॐ कुञ्जिताञ्जितकुन्तलाय नमः |
ॐ सुव्यक्तव्यक्ताभरणाय नमः |
ॐ सूतिकागृहभूषणाय नमः |
ॐ कारागारान्धकारन्धाय नमः |......
ॐ पितृप्राग्जन्मसूचकाय नमः |
ॐ वसुदेवस्तुताय नमः |
ॐ स्तोत्राय नमः |
ॐ तापत्रयनिवारणाय नमः || ७० ||
ॐ निरवद्याय नमः |
ॐ क्रियामूर्तये नमः |
ॐ न्यायवाक्यनियोजकाय नमः |
ॐ अदृष्टचेष्टाय नमः |
ॐ कूटस्थाय नमः |
ॐ धृतलौकिकविग्रहाय नमः |
ॐ महर्षिमानसोल्लासाय नमः |
ॐ महीमङ्गलदायकाय नमः |
ॐ संतोषितसुरव्राताय नमः |
ॐ साधुचित्तप्रसादकाय नमः || ८० ||
ॐ जनकोपायनिर्देष्ट्रे नमः |
ॐ देवकीनयनोत्सवाय नमः |
ॐ पितृपाणिपरिष्काराय नमः |
ॐ मोहितागाररक्षकाय नमः |
ॐ स्वशक्त्यद्धाटिताशेषकपाटाय नमः |
ॐ पितृवाहनाय नमः |
ॐ शेषोरगफणाच्छत्राय नमः |
ॐ शेषोक्ताख्यासहस्त्रकाय नमः |
ॐ यमूनापूरविध्वंसिने नमः |
ॐ स्वभासोद्भासितव्रजाय नमः || ९० ||
ॐ कृतात्मविद्याविन्यासाय नमः |
ॐ योगमायाग्रसम्भवाय नमः |
ॐ दुर्गानिवेदितोद्भावाय नमः |
ॐ यशोदातल्पशायकाय नमः |
ॐ नन्दगोपोत्सवस्फूर्तये नमः |
ॐ व्रजानन्दकरोदयाय नमः |
ॐ सुजातजातकर्मश्रिये नमः |
ॐ गोपीभद्रोक्तिनिर्वृताय नमः |
ॐ अलिकानिद्रोपगमाय नमः |
ॐ पूतनास्तनपीडनाय नमः || १०० ||
ॐ स्तन्यात्तपूतनाप्राणाय नमः |
ॐ पूतनाक्रोशकारकाय नमः |
ॐ विन्यस्तरक्षागोधूलये नमः |
ॐ यशोदाकरलालिताय नमः |
ॐ नन्दाघ्रातशिरोमध्याय नमः |
ॐ पूतनासुगतिप्रदाय नमः |
ॐ बालाय नमः |
ॐ पर्यङ्कनिद्रालवे नमः |
ॐ मुखार्पितपदाङ्गुलये नमः |
ॐ अञ्जनस्त्रीग्धनयनाय नमः || ११० ||
ॐ पर्यायाङ्कुरितस्मिताय नमः |
ॐ लीलाक्षाय नमः |
ॐ तरलालोकाय नमः |
ॐ शकटासुरभञ्जनाय नमः |
ॐ द्विजोदितस्वस्त्ययनाय नमः |
ॐ मन्त्रपूतजलाप्लुताय नमः |
ॐ यशोदोत्सङ्गपर्यङ्काय नमः |
ॐ यशोदामुखवीक्षकाय नमः |
ॐ यशोदास्तन्यमुदिताय नमः |
ॐ तृणावर्तादिदुःसहाय नमः || १२० ||
ॐ तृणावर्तासुरध्वंसिने नमः |
ॐ मातृविस्मयकारकाय नमः |
ॐ प्रशस्तनामकरणाय नमः |
ॐ जानुचंक्रमणोस्तुकाय नमः |
ॐ व्यालम्बिचूलिकारन्ताय नमः |,,,
ॐ घोषगोपाय नमः |
ॐ प्रहर्षणाय नमः |
ॐ स्वमुखप्रतिबिम्बार्थिने नमः |
ॐ ग्रीवाव्याध्रनखोज्ज्वलाय नमः |....
ॐ पंकानुलेपरुचिराय नमः || १३० ||
ॐ मांसलोरुकटितटाय नमः |
ॐ घृष्टजानुकरद्वन्द्वाय नमः |,,,,,,,,,
ॐ प्रतिबिम्बानुकारकृते नमः |
ॐ अव्यक्तवर्णवाग्वृत्तये नमः |
ॐ स्मितलक्ष्यरदोद्गमाय नमः |
ॐ धात्रीकरसमालम्बिने नमः |
ॐ प्रस्खलच्चित्रचंक्रमाय नमः |
ॐ अनुरूपवयसयाढ्याय नमः |
ॐ चारुकौमारचापलाय नमः |
ॐ वत्सपुच्छसमाक्रुष्टाय नमः || १४० ||
ॐ वत्सपुच्छाविकर्षणाय नमः |
ॐ विस्मारितान्यव्यापाराय नमः |
ॐ गोपगोपीमुदावहाय नमः |
ॐ अकालवत्सनिर्मोक्त्रे नमः |
ॐ व्रजव्याक्रोशसुस्मिताय नमः |
ॐ नवनीतमहाचोराय नमः |
ॐ दारकाहारदायकाय नमः |
ॐ पीठोलूखलसोपानाय नमः |
ॐ क्षीरभाण्डविभेदनाय नमः |
ॐ शिक्यभाण्डसमाकर्षिणे नमः || १५० ||
ॐ ध्वान्तागारप्रवेशकृते नमः |
ॐ भूषारत्नप्रकाशाढ्याय नमः |
ॐ गोप्युपालम्भभर्त्सिताय नमः |
ॐ परागधूसराकाराय नमः |
ॐ मृद्भक्षणकृतेक्षणाय नमः |
ॐ बालोक्तमृत्कथारम्भाय नमः |
ॐ मित्रान्तर्गूढविग्रहाय नमः |
ॐ कृतसंत्रासलोलाक्षाय नमः |
ॐ जननीप्रत्ययावहाय नमः |
ॐ मातृदृश्यात्तवदनाय नमः || १६० ||
ॐ वक्त्रलक्ष्यचराचराय नमः |
ॐ यशोदालालितस्वात्मने नमः |
ॐ स्वयं स्वाच्छन्द्यमोहनाय नमः |
ॐ सवित्रीस्नेहसंश्लिष्टाय नमः |
ॐ सवित्रीस्तनलोलुपाय नमः |
ॐ नवनीतार्थनाप्रह्वाय नमः |
ॐ नवनीतमहाशनाय नमः |
ॐ मृषाकोपप्रकम्पोष्टाय नमः |
ॐ गोष्ठाङ्गणविलोकनाय नमः |
ॐ दधिमन्थघटीभेत्त्रे नमः || १७० ||
ॐ किंकिणीक्वाणसूचिताय नमः |
ॐ हैयङ्गवीनरसिकाय नमः |
ॐ मृषाश्रवे नमः |
ॐ चौर्यशङ्किताय नमः |
ॐ जननीश्रमविज्ञात्रे नमः |
ॐ दामबन्धनियन्त्रिताय नमः |
ॐ दामाकल्पाय नमः |
ॐ चलापाङ्गाय नमः |
ॐ गाढोलूखलबन्धनाय नमः |
ॐ आकृष्टोलूखलाय नमः || १८० ||
ॐ अनन्ताय नमः |
ॐ कुबेरसुतशापविदे नमः |
ॐ नारदोत्किपरामर्शिणे नमः |
ॐ यमलार्जुनभञ्जनाय नमः |
ॐ धनदात्मजसङ्घुष्टाय नमः |
ॐ नन्दमोचितबन्धनाय नमः |
ॐ बालकोद्गीतनिरताय नमः |
ॐ बाहुक्षेपोदितप्रियाय नमः |
ॐ आत्मज्ञाय नमः |
ॐ मित्रवशगाय नमः || १९० ||
ॐ गोपीगीतगुणोदयाय नमः |
ॐ प्रस्थानशकटारूढाय नमः |
ॐ वृन्दावनकृतालयाय नमः |
ॐ गोवत्सपालनैकाग्राय नमः |
ॐ नानाक्रीडापरिच्छदाय नमः |
ॐ क्षेपणीक्षेपणाय नमः |
ॐ प्रीताय नमः |
ॐ वेणुवाद्यविशारदाय नमः |
ॐ वृषवत्सानुकरणाय नमः |
ॐ वृषध्वानविडम्बनाय नमः || २०० ||
ॐ नियुद्धलीलासंहृष्टाय नमः |
ॐ कूजानुकृतकोकिलाय नमः |
ॐ उपात्तहंसगमनाय नमः |
ॐ सर्वजन्तुरुतानुकृते नमः |
ॐ भृङ्गानुकारिणे नमः |
ॐ दध्यन्नचोराय नमः |
ॐ वत्सपुरस्सराय नमः |
ॐ बलिने नमः |
ॐ बकासुरग्राहिणे नमः |
ॐ बकतालुप्रदाहकाय नमः || २१० ||
ॐ भीतगोपार्भकाहूताय नमः |
ॐ बलचञ्चविदारणाय नमः |
ॐ बकासुरारये नमः |
ॐ गोपालाय नमः |
ॐ बालाय नमः |
ॐ बालाद्भुतावहाय नमः |
ॐ बलभद्रसमाश्लिष्टाय नमः |
ॐ कृतक्रीडानिलायनाय नमः |
ॐ क्रीडासेतुनिधानज्ञाय नमः |
ॐ प्लवङ्गोत्प्लवनाय नमः || २२० ||
ॐ अद्भुताय नमः |
ॐ कन्दुकक्रीडनाय नमः |
ॐ लुप्तनन्दादिभववेदनाय नमः |.......
ॐ सुमनसे नमः |
ॐ अलंकृतशिरसे नमः |
ॐ स्वादुस्त्रिग्धान्नशिक्यभृते नमः |........
ॐ गुञ्जाप्रालम्बनच्छन्नाय नमः |.........
ॐ पिञ्छैरलकवेषकृते नमः |
ॐ वन्याशनप्रियाय नमः |
ॐ शृङ्गरवाकारितवत्सकाय नमः || २३० ||
ॐ मनोज्ञपल्लवोत्तंसपुष्पस्वेच्छात्तषट्पदाय नमः |
ॐ मञ्जुशिञ्जितमञ्जीरचरणाय नमः |
ॐ करकङ्कणाय नमः |
ॐ अन्योन्यशासनाय नमः |
ॐ क्रीडापटवे नमः |
ॐ परमकैतवाय नमः |
ॐ प्रतिध्वानप्रमुदिताय नमः |
ॐ शाखाचतुरचंक्रमाय नमः |
ॐ अघदानवसंहर्त्रे नमः |
ॐ व्रजविन्धविनाशनाय नमः || २४० ||
ॐ व्रजसञ्जीवनाय नमः |
ॐ श्रेयोनिधये नमः |
ॐ दानवमुक्तिदाय नमः |
ॐ कालिन्दीपुलिनासीनाय नमः |
ॐ सहभुक्तव्रजार्भकाय नमः |
ॐ कक्षाजठरविन्यस्तवेणवे नमः |
ॐ वल्लवचेष्टिताय नमः |
ॐ भुजसन्ध्यन्तरन्यस्त शृङ्गवेत्राय नमः |
ॐ शुचिस्मिताय नमः |
ॐ वामपाणिस्थदध्यन्नकवलाय नमः || २५० ||
ॐ कलभाषणाय नमः |
ॐ अङ्गुल्यन्तरविन्यस्तफलाय नमः |
ॐ परमपावनाय नमः |
ॐ अदृश्यतर्णकान्वेषिणे नमः |
ॐ वल्लवार्भकभीतिघ्ने नमः |,,,,,,
ॐ अदृष्टवत्सपव्राताय नमः |
ॐ ब्रह्मविज्ञातवैभवाय नमः |
ॐ गोवत्सवत्सपान्वेषिणे नमः |
ॐ विराट्पुरुषविग्रहाय नमः |
ॐ स्वसंकल्पानुरूपार्थाय नमः || २६० ||
ॐ वत्साय नमः |
ॐ वत्सपरुपधृते नमः |
ॐ यथावत्सक्रियारुपाय नमः |
ॐ यथास्थाननिवेशनाय नमः |
ॐ यथाव्रजार्भकाकाराय नमः |
ॐ गोगोपीस्तन्यपाय नमः |
ॐ सुखिने नमः |
ॐ चिराद्बलाय नमः |
ॐ हिताय नमः |
ॐ दान्ताय नमः || २७० ||
ॐ ब्रह्मविज्ञातवैभवाय नमः |
ॐ विचित्रशक्तये नमः |
ॐ व्यालीनाय नमः |
ॐ सृष्टगोवत्सवत्सपाय नमः |
ॐ ब्रह्मत्रपाकराय नमः |
ॐ धातृस्तुताय नमः |
ॐ सर्वार्थसाधकाय नमः |
ॐ ब्रह्मणे नमः |
ॐ ब्रह्ममयाय नमः |
ॐ अव्यक्ताय नमः || २८० ||
ॐ तेजोरूपाय नमः |
ॐ सुखात्मकाय नमः |
ॐ निरुक्ताय नमः |
ॐ व्याकृतये नमः |
ॐ व्यक्ताय नमः |
ॐ निरालम्बनभावनाय नमः |
ॐ प्रभविष्णवे नमः |
ॐ अतन्त्रीकाय नमः |
ॐ देवपक्षार्थरुपधृषे नमः |
ॐ अकामाय नमः || २९० ||
ॐ सर्ववेदादये नमः |
ॐ अणियसे नमः |
ॐ स्थूलरूपवते नमः |
ॐ व्यापिने नमः |
ॐ व्याप्याय नमः |
ॐ कृपाकर्त्रे नमः |
ॐ विचित्राचारसम्मताय नमः |
ॐ छन्दोमयाय नमः |
ॐ प्रधानात्मने नमः |
ॐ मूर्ताय नमः || ३०० ||
ॐ मूर्तद्वयाकृतये नमः |
ॐ अनेकमूर्तये नमः |
ॐ अक्रोधाय नमः |
ॐ परस्मै नमः |
ॐ प्रकृतये नमः |
ॐ अक्रमाय नमः |
ॐ सकलावरणोपेताय नमः |
ॐ सर्वदेवाय नमः |
ॐ महेश्वराय नमः |
ॐ महाप्रभावनाय नमः || ३१० ||
ॐ पूर्ववत्साय नमः |
ॐ वत्सपदर्शकाय नमः |
ॐ कृष्णाय नमः |
ॐ यादवाय नमः |
ॐ गोपालाय नमः |
ॐ गोपालोकनहर्षिताय नमः |
ॐ स्मितेक्षाहर्षिताय नमः |
ॐ ब्रह्मणे नमः |
ॐ भक्तवत्सलाय नमः |
ॐ वाक्प्रियाय नमः || ३२० ||
ॐ ब्रह्मानन्दाश्रुधौतांघ्रये नमः |
ॐ लीलावैचित्र्यकोविदाय नमः |
ॐ बलभद्रैकहृदयाय नमः |
ॐ नामाकारितगोकुलाय नमः |
ॐ गोपालबालकाय नमः |
ॐ भव्याय नमः |
ॐ रज्जुयज्ञोपवीतवते नमः |
ॐ वृक्षच्छायाहताशान्तये नमः |
ॐ गोपोत्सङ्गोपबर्हणाय नमः |
ॐ गोपसंवाहितपदाय नमः || ३३० ||
ॐ गोपव्यजनवीजिताय नमः |
ॐ गोपगानसुखोन्निद्राय नमः |
ॐ श्रीदामार्जितसौहृदाय नमः |
ॐ सुनन्दसुहृदे नमः |
ॐ एकात्मने नमः |
ॐ सुबलप्राणरञ्जनाय नमः |
ॐ तालीवनकृतक्रीडाय नमः |
ॐ बलपातितधेनुकाय नमः |
ॐ गोपीसौभाग्यसम्भाव्याय नमः |
ॐ गोधूलिच्छुरितालकाय नमः || ३४० ||
ॐ गोपीविरहसंतप्ताय नमः |,,,,,,,,,
ॐ गोपिकाकृतमज्जनाय नमः |
ॐ प्रलम्बबाहवे नमः |
ॐ उत्फुल्लपुण्डरीकावतंसकाय नमः |
ॐ विलासलतिस्मेरगर्भलीलावलोकनाय नमः |
ॐ स्त्रग्भूषणानुलेपाढ्याय नमः |
ॐ जनन्युपहृतान्नभुजे नमः |
ॐ वरशय्याशयाय नमः |
ॐ राधाप्रेमसल्लापनिर्वृताय नमः |
ॐ यमुनातटसञ्चारिणे नमः || ३५० ||
ॐ विषार्तव्रजहर्षदाय नमः |
ॐ कालियक्रोधजनकाय नमः |
ॐ वृद्धाहिकुलवेष्टिताय नमः |
ॐ कालियाहिफणारङ्गनटाय नमः |
ॐ कालियमर्दनाय नमः |
ॐ नागपत्निस्तुतिप्रीताय नमः |
ॐ नानवेषसमृद्धिकृते नमः |
ॐ अविषाक्तदृशे नमः |
ॐ आत्मेशाय नमः |
ॐ स्वदृगात्मने नमः || ३६० ||
ॐ स्तुतिप्रियाय नमः |
ॐ सर्वेश्वराय नमः |
ॐ सर्वगुणाय नमः |
ॐ प्रसिद्धाय नमः |
ॐ सर्वसात्वताय नमः |
ॐ अकुण्ठधाम्ने नमः |.........
ॐ चन्द्रार्कदृष्टये नमः |
ॐ आकाशनिर्मलाय नमः |
ॐ अनिर्देश्यगतये नमः |
ॐ नागवनितापतिभैक्षदाय नमः || ३७० ||
ॐ स्वांध्रिमुद्राङ्कनागेन्द्रमूर्ध्ने नमः |...............
ॐ कालियसंस्तुताय नमः |
ॐ अभयाय नमः |
ॐ विश्वतश्चक्षुषे नमः |
ॐ स्तुतोत्तमगुणाय नमः |
ॐ प्रभवे नमः |
ॐ अहमात्मने नमः |
ॐ मरुत्प्राणाय नमः |
३७९. ॐ परमात्मने नमः |
ॐ द्युशीर्षवते नमः || ३८० ||
ॐ नागोपायनहृष्टात्मने नमः |
ॐ ह्रदोत्सारितकालियाय नमः |
ॐ बलभद्रसुखालापाय नमः |
ॐ गोपालिङ्गननिर्वृताय नमः |
ॐ दावाग्निभीतगोपालगोप्त्रे नमः |
ॐ दावाग्निनाशनाय नमः |
ॐ नयनाच्छादनक्रीडालम्पटाय नमः |
ॐ नृपचेष्टिताय नमः |
ॐ काकपक्षधराय नमः |
ॐ सौम्याय नमः || ३९० ||
ॐ बलवाहनाय नमः |
ॐ केलिमते नमः |
ॐ बलघातितदुर्धर्षाय नमः |
ॐ प्रलम्बाय नमः |
ॐ बलवत्सलाय नमः |
ॐ मुञ्जाटव्यग्निशमनाय नमः |
ॐ प्रावृट्कालविनोदवते नमः |
ॐ शिलान्यस्तान्नभृते नमः |,,,,,,
ॐ दैत्यसंहर्त्रे नमः |
ॐ शाद्वलासनाय नमः || ४०० ||
ॐ सदाप्तगोपिकोद्गीताय नमः |
ॐ कर्णिकारावतंसकाय नमः |
ॐ नटवेषधराय नमः |
ॐ पद्ममालाङ्काय नमः |
ॐ गोपिकावृताय नमः |
ॐ गोपीमनोहरापाङ्गाय नमः |
ॐ वेणुवादनतत्पराय नमः |
ॐ विन्यस्तवदनाम्भोजाय नमः |
ॐ चारूशब्दकृताननाय नमः |
ॐ बिम्बाधरार्पितदारुवेणवे नमः || ४१० ||
ॐ विश्वविमोहनाय नमः |
ॐ व्रजसंवर्णिताय नमः |
ॐ श्राव्यवेणुनादश्रुतिप्रियाय नमः |
ॐ गोगोपगोपीजन्मेप्सवे नमः |
ॐ ब्रह्मेन्द्राद्यभिवन्दिताय नमः |
ॐ गीतस्त्रुतिसरित्पूराय नमः |
ॐ नादनर्तितबर्हिणाय नमः |
ॐ रागपल्लवितस्थाणवे नमः |
ॐ गीतानमितपादपाय नमः |
ॐ विस्मारिततृणग्रासमृगाय नमः || ४२० ||
ॐ मृगविलोभिताय नमः |
ॐ व्याघ्रादिहिंस्त्रसहजवैरहर्त्रे नमः |
ॐ सुगायनाय नमः |
ॐ गाढोदीरितगोवृन्दाय नमः |
ॐ प्रेमोत्कर्णिततर्णकाय नमः |
ॐ निष्पन्दयानब्रह्मादिवीक्षिताय नमः |
ॐ विश्ववन्दिताय नमः |
ॐ शाखोत्कर्णशकुन्तौघाय नमः |
ॐ छत्रायितवलाहकाय नमः |
ॐ प्रसन्नाय नमः || ४३० ||
ॐ परमानन्दाय नमः |
ॐ चित्रायितचराचराय नमः |
ॐ गोपिकामदनाय नमः |
ॐ गोपिकुचकुङ्कुममुद्रिताय नमः |
ॐ गोपकन्याजलक्रीडाहृष्टाय नमः |
ॐ गोप्यंशुकापहृते नमः |
ॐ स्कन्धारोपितगोपस्त्रीवाससे नमः |
ॐ कुन्दनिभस्मिताय नमः |
ॐ गोपीनेत्रोत्पलशशिने नमः |
ॐ गोपिकायाचितांशुकाय नमः || ४४० ||
ॐ गोपीनमस्क्रियादेष्ट्रे नमः |
ॐ गोप्येककरवन्दिताय नमः |
ॐ गोप्यञ्जलिविशेषार्थिने नमः |
ॐ गोपीक्रीडाविलोभिताय नमः |
ॐ शान्तवासस्फुरद्गोपीकृताञ्जलये नमः |
ॐ अघापहाय नमः |
ॐ गोपीकेलिविलासार्थिने नमः |
ॐ गोपीसम्पुर्णकामदाय नमः |
ॐ गोपस्त्रीवस्त्रदाय नमः |
ॐ गोपीचित्तचोराय नमः || ४५० ||
ॐ कुतूहलिने नमः |
ॐ वृन्दावनप्रियाय नमः |
ॐ गोपबन्धवे नमः |
ॐ यज्वान्नयाचित्रे नमः |
ॐ यज्ञेशाय नमः |
ॐ यज्ञभावज्ञाय नमः |
ॐ यज्ञपत्न्यभिवाञ्छिताय नमः |
ॐ मुनिपत्नीवितीर्णान्नतृप्ताय नमः |
ॐ मुनिवधूप्रियाय नमः |
ॐ द्विजपत्न्यभिभावज्ञाय नमः || ४६० ||
ॐ द्विजपत्नीवरप्रदाय नमः |
ॐ प्रतिरुद्धसतीमोक्षप्रदाय नमः |
ॐ द्विजविमोहिताय नमः |
ॐ मुनिज्ञानप्रदाय नमः |
ॐ यज्वस्तुताय नमः |
ॐ वासवयागविदे नमः |
ॐ पितृप्रोक्तक्रियारूपपशक्रयागनिवरणाय नमः |
ॐ शक्रामर्षकराय नमः |
ॐ शक्रवृष्टिप्रशमनोन्मुखाय नमः |
ॐ गोवर्धनधराय नमः || ४७० ||
ॐ गोपगोवृन्दत्राणतत्पराय नमः |
ॐ गोवर्धनगिरिच्छत्रचण्डदण्डभुजार्गलाय नमः |
ॐ सप्ताहविधृताद्रीन्द्राय नमः |
ॐ मेघवाहनगर्वन्धे नमः |
ॐ भुजोग्रोपरिविन्यस्तक्ष्माधरक्ष्माभृते नमः |
ॐ अच्युताय नमः |
ॐ स्वस्थानस्थापितगिरये नमः |
ॐ गोपीदध्यक्षतार्चिताय नमः |
ॐ सुमनसे नमः |
ॐ सुमनोवृष्टिहृष्टाय नमः || ४८० ||
ॐ वासववन्दिताय नमः |
ॐ कामधेनुपयःपूराभिषिक्ताय नमः |
ॐ सुरभिस्तुताय नमः |
ॐ धरांघ्रिये नमः |
ॐ ओषधीरोम्णे नमः |
ॐ धर्मगोप्त्रे नमः |
ॐ मनोमयाय नमः |
ॐ ज्ञानयज्ञप्रियाय नमः |
ॐ शास्त्रनेत्राय नमः |
ॐ सर्वार्थसारथये नमः || ४९० ||
ॐ एरावतकरानीतवियद्गङ्गाप्लुताय नमः |
ॐ विभवे नमः |
ॐ ब्रह्माभिषिक्ताय नमः |
ॐ गोगोप्त्रे नमः |
ॐ सर्वलोकशुभंकराय नमः |
ॐ सर्ववेदमयाय नमः |
ॐ मग्ननन्दान्वेषिणे नमः |
ॐ पितृप्रियाय नमः |
ॐ वरुणोदीरितात्मेक्षाकौतुकाय नमः |
ॐ वरुणार्चिताय नमः || ५०० ||
ॐ वरुणानीतजनकाय नमः |
ॐ गोपज्ञातात्मवैभवाय नमः |
ॐ स्वर्लोकालोकसंहृष्टगोपवर्गत्रिवर्गदाय नमः |
ॐ ब्रह्महृद्गोपिताय नमः |
ॐ गोपद्रष्ट्रे नमः |
ॐ ब्रह्मपदप्रदाय नमः |
ॐ शरच्चन्द्रविहारोत्काय नमः |
ॐ श्रीपतये नमः |
ॐ वशकाय नमः |
ॐ क्षमाय नमः || ५१० ||
ॐ भयापहाय नमः |
ॐ भर्तृरुद्धगोपिकाध्यानगोचराय नमः |
ॐ गोपिकानयनास्वाद्याय नमः |
ॐ गोपीनर्मोक्तिनिर्वृताय नमः |
ॐ गोपिकामानहरणाय नमः |
ॐ गोपिकाशतयूथपाय नमः |
ॐ वैजयन्तीस्त्रगाकल्पाय नमः |
ॐ गोपिकामानवर्धनाय नमः |
ॐ गोपकान्तासुनिर्देष्ट्रे नमः |
ॐ कान्ताय नमः || ५२० ||
ॐ मन्मथमन्मथाय नमः |
ॐ स्वात्मास्यदत्तताम्बूलाय नमः |
ॐ फलितोत्कृष्टयौवनाय नमः |
ॐ वल्लवीस्तनसक्ताक्षाय नमः |
ॐ वल्लवीप्रेमचालिताय नमः |
ॐ गोपीचेलांचलासीनाय नमः |
ॐ गोपीनेत्राब्जषट्पदाय नमः |
ॐ रासक्रीडासमासक्ताय नमः |
ॐ गोपीमण्डलमण्डनाय नमः |
ॐ गोपीहेममणिश्रेणिमध्येन्द्रमणये नमः || ५३० ||
ॐ उज्ज्वलाय नमः |
ॐ विद्याधरेन्दुशापपघ्नाय नमः |
ॐ शंखचूडशिरोहराय नमः |
ॐ शंखचूडशिरोरत्नसम्प्रीणितबलाय नमः |
ॐ अनघाय नमः |
ॐ अरिष्टारिष्टकृते नमः |
ॐ दुष्टकेशिदैत्यनिषूदनाय नमः |
ॐ सरसाय नमः |
ॐ सस्मितमुखाय नमः |
ॐ सुस्थिराय नमः || ५४० ||
ॐ विरहाकुलाय नमः |
ॐ सङ्कर्षणार्षितप्रीतये नमः |
ॐ अक्रूरध्यानगोचराय नमः |
ॐ अक्रूरसंस्तुताय नमः |
ॐ गूढाय नमः |
ॐ गुणवृत्त्युपलक्षिताय नमः |
ॐ प्रमाणगम्याय नमः |
ॐ तन्मात्रावयविने नमः |
ॐ बुद्धितत्पराय नमः |
ॐ सर्वप्रमाणप्रमथिने नमः || ५५० ||
ॐ सर्वप्रत्ययसाधकाय नमः |
ॐ पुरुषाय नमः |
ॐ प्रधानात्मने नमः |
ॐ विपर्यासविलोचनाय नमः |
ॐ मधुराजनसंवीक्ष्याय नमः |
ॐ रजकप्रतिघातकाय नमः |
ॐ विचित्राम्बरसंवीताय नमः |
ॐ मालाकारवरप्रदाय नमः |
ॐ कुब्जावक्रत्वनिर्मोक्त्रे नमः |
ॐ कुब्जायौवनदायकाय नमः || ५६० ||
ॐ कुब्जाङ्गरागसुरभये नमः |
ॐ कंसकोदण्डखण्डनाय नमः |
ॐ धीराय नमः |
ॐ कुवलयापीडमर्दनाय नमः |
ॐ कंसभीतिकृते नमः |
ॐ दन्तिदन्तायुधाय नमः |
ॐ रङ्गत्रासकाय नमः |
ॐ मल्लयुद्धविदे नमः |
ॐ चाणूरहन्त्रे नमः |
ॐ कंसारये नमः || ५७० ||
ॐ देवकीहर्षदायकाय नमः |
ॐ वसुदेवपदानम्राये नमः |
ॐ पितृबन्धविमोचनाय नमः |
ॐ उर्वीभयापहाय नमः |
ॐ भूपाय नमः |
ॐ उग्रसेनाधिपत्यदाय नमः |
ॐ आज्ञास्थितशचीनाथाय नमः |
ॐ सुधर्मानयनक्षमाय नमः |
ॐ आद्याय नमः |
ॐ द्विजातिसत्कर्त्रे नमः || ५८० ||
ॐ शिष्टाचारप्रदर्शकाय नमः |
ॐ सान्दीपनिकृताभ्यस्त विद्याभ्यासैकधिये नमः |
ॐ सुधिये नमः |
ॐ गुर्वभिष्टक्रियादक्षाय नमः |
ॐ पश्चिमोदधिपूजिताय नमः |
ॐ हतञ्चजनप्राप्तपाञ्चजन्याय नमः |
ॐ यमार्चिताय नमः |
ॐ धर्मराजजयानीतगुरुपुत्राय नमः |
ॐ उरुक्रमाय नमः |
ॐ गुरुपुत्रप्रदाय नमः || ५९० ||
ॐ शास्त्रे नमः |
ॐ मधुराजसभासदाय नमः |
ॐ जामदग्न्यसमभ्यर्च्याय नमः |
ॐ गोमन्तगिरिसञ्जराय नमः |
ॐ गोमन्तदावशमनाय नमः |
ॐ गरुडानीतभूषणाय नमः |
ॐ चक्रद्यायुधसंशोभिने नमः |
ॐ जरासन्धमदापहाय नमः |
ॐ सृगालावनिपालन्घाय नमः |
ॐ सृगालात्मजराज्यदाय नमः || ६०० ||
ॐ विघ्नस्तकालयवनाय नमः |
ॐ मुचुकुन्दवरप्रदाय नमः |
ॐ आज्ञापितमहाम्भोधये नमः |
ॐ द्वारकापुरकल्पनाय नमः |
ॐ द्वारकानिलयाय नमः |
ॐ रुक्मिमानहन्त्रे नमः |
ॐ यदूद्वहाय नमः |
ॐ रुचिराय नमः |
ॐ रुक्तिणीजानये नमः |
ॐ प्रद्मुन्मजनकाय नमः || ६१० ||
ॐ प्रभवे नमः |
ॐ अपाकृतत्रिलोकार्तये नमः |
ॐ अनिरुद्धपितामहाय नमः |
ॐ अनिरुद्धपदान्वेषिणे नमः |
ॐ चक्रिणे नमः |
ॐ गरुडवाहनाय नमः |
ॐ बाणासुरपुरीरोद्ध्रे नमः |
ॐ रक्षाज्वलनयन्त्रजिते नमः |
ॐ धूतप्रमथसंरम्भाय नमः |
ॐ जितमाहेश्वरज्वराय नमः || ६२० ||
ॐ षट्चक्रशक्तिनिर्जेत्रे नमः |
ॐ भूतवेतालमोहकृते नमः |
ॐ शम्भुत्रिशूलजिते नमः |
ॐ शम्भुजम्भणाय नमः |
ॐ शम्भुसंस्तुताय नमः |
ॐ इन्द्रियाय नमः |
ॐ आत्मने नमः |
ॐ इन्दुहृदयाय नमः |
ॐ सर्वयोगेश्वरेश्वराय नमः |
ॐ हिरण्यगर्भहृदयाय नमः || ६३० ||
ॐ मोहावर्तनिवर्तनाय नमः |
ॐ आत्मज्ञाननिधये नमः |
ॐ मेधाकोशाय नमः |---
ॐ तन्मात्ररूपवते नमः |
ॐ इन्द्राय नमः |
ॐ अग्निवदनाय नमः |
ॐ कालनाभाय नमः |
ॐ सर्वागमाय नमः |
ॐ अध्वगाय नमः |
ॐ तुरीयाय नमः || ६४० ||
ॐ सर्वधीसाक्षिणे नमः |
ॐ द्वन्द्वारामाय नमः |
ॐ आत्मदूरगाय नमः |
ॐ अज्ञातपारवश्यश्रिये नमः |
ॐ अव्याकृतविहारवते नमः |
ॐ आत्मप्रदिपाय नमः |
ॐ विज्ञानमात्रात्मने नमः |
ॐ श्रीनिकेतनाय नमः |
ॐ बाणबाहुवनच्छेत्रे नमः |
ॐ महेन्द्रप्रीतिवर्धनाय नमः || ६५० ||
ॐ अनिरुद्धनिरोधज्ञाय नमः |
ॐ जलेशाहृतगोकुलाय नमः |
ॐ जयेशविजयिने नमः |
ॐ वीराय नमः |
ॐ सत्राजिद्रत्नयाचक्राय नमः |
ॐ प्रसेनान्वेषणोद्युक्ताय नमः |
ॐ जाम्बवद्धतरत्नदाय नमः |
ॐ जितर्क्षराजतनयाहर्त्रे नमः |
ॐ जाम्बवतीप्रियाय नमः |
ॐ सत्यभामाप्रियाय नमः || ६६० ||
ॐ कामाय नमः |
ॐ शतधन्वशिरोहराय नमः |
ॐ कलिन्दीपतये नमः |
ॐ अक्रूरबन्धवे नमः |
ॐ अक्रूररत्नदाय नमः |
ॐ कैकेयीरमणाय नमः |
ॐ भद्राभर्त्रे नमः |
ॐ नग्नजितीधवाय नमः |----
ॐ माद्रीमनोहराय नमः |
ॐ शैब्याप्राणबन्धवे नमः || ६७० ||
ॐ उरुक्रमाय नमः |
ॐ सुशीलादयिताय नमः |
ॐ मित्रविन्दानेत्रमहोत्सवाय नमः |
ॐ लक्ष्मणावल्लभाय नमः |
ॐ रुद्धप्रागज्योतिषमहापुराय नमः |
ॐ सुरपाशावृतिच्छेदिने नमः |
ॐ मुरारये नमः |
ॐ क्रूरयुद्धविदे नमः |
ॐ हयग्रीवशिरोहर्त्रे नमः |
ॐ सर्वात्मने नमः || ६८० ||
ॐ सर्वदर्शनाय नमः |
ॐ नरकासुरविच्छेत्रे नमः |
ॐ नरकात्मजराज्यदाय नमः |
ॐ पृथ्वीस्तुताय नमः |
ॐ प्रकाशात्मने नमः |
ॐ हृद्याय नमः |
ॐ यज्ञफलप्रदाय नमः |
ॐ गुणग्राहिणे नमः |
ॐ गुणद्रष्ट्रे नमः |
ॐ गूढ़स्वात्माविभूतिमते नमः || ६९० ||
ॐ कवये नमः |
ॐ जगदुपद्रष्ट्रे नमः |
ॐ परमाक्षरविग्रहाय नमः |
ॐ प्रपन्नपालनाय नमः |
ॐ मालिने नमः |
ॐ महद्ब्रह्मविवर्धनाय नमः |
ॐ वाच्यवाचकशक्त्यर्थाय नमः |
ॐ सर्वव्याकृतसिद्धिदाय नमः |
ॐ स्वयंप्रभवे नमः |
ॐ अनिर्वेद्याय नमः || ७०० ||
ॐ स्वप्रकाशाय नमः |
ॐ चिरन्तनाय नमः |
ॐ नादात्मने नमः |
ॐ मन्त्रकोटीशाय नमः |
ॐ नानावादनिरोधकाय नमः |
ॐ कन्दर्पकोटिलावण्याय नमः |
ॐ परार्थैकप्रयोजकाय नमः |
ॐ अमरीकृतदेवौघाय नमः |
ॐ कन्यकाबन्धमोचनाय नमः |
ॐ षोडशस्त्रीसहस्त्रेशाय नमः || ७१० ||
ॐ कान्ताय नमः |
ॐ कान्तामनोभवाय नमः |
ॐ क्रीडारत्नाचलाहर्त्रे नमः |
ॐ वरुणच्छत्रशोभिताय नमः |
ॐ शक्राभिवन्दिताय नमः |
ॐ शक्रजननीकुण्डलप्रदाय नमः |
ॐ अदितिप्रस्तुतस्तोत्राय नमः |
ॐ ब्राह्मणोद्घुष्टचेष्टनाय नमः |
ॐ पुराणाय नमः |
ॐ संयमिने नमः || ७२० ||
ॐ जन्मालिप्ताय नमः |
ॐ षड्विंशकाय नमः |
ॐ अर्थदाय नमः |
ॐ यशस्यनीतये नमः |
ॐ आद्यन्तरहिताय नमः |
ॐ सत्कथाप्रियाय नमः |
ॐ ब्रह्मबोधाय नमः |
ॐ परानन्दाय नमः |
ॐ पारिजातापहारकाय नमः |
ॐ पौण्ड्रकप्राणहरणाय नमः || ७३० ||
ॐ काशिराजनिषूदनाय नमः |
ॐ कृत्यागर्वप्रशमनाय नमः |
ॐ विचक्रवधदीक्षिताय नमः |
ॐ हंसविध्वंसनाय नमः |
ॐ साम्बजनकाय नमः |
ॐ डिम्भकार्दनाय नमः |
ॐ मुनये नमः |
ॐ गोप्त्रे नमः |
ॐ पितृवरप्रदाय नमः |
ॐ सवनदीक्षिताय नमः || ७४० ||
ॐ रथिने नमः |
ॐ सारथ्यनिर्देष्ट्रे नमः |
ॐ फाल्गुनाय नमः |
ॐ फाल्गुनिप्रियाय नमः |
ॐ सप्ताब्धिस्तम्भनोद्भूताय नमः |
ॐ हरये नमः |
ॐ सप्ताब्धिभेदनाय नमः |
ॐ आत्मप्रकाशाय नमः |
ॐ पूर्णश्रिये नमः |
ॐ आदिनारायणेक्षिताय नमः || ७५० ||
ॐ विप्रपुत्रप्रदाय नमः |
ॐ सर्वमातृसुतप्रदाय नमः |
ॐ पार्थविस्मयकृते नमः |
ॐ पार्थप्रणवार्थप्रबोधनाय नमः |
ॐ कैलासयात्रासुमुखाय नमः |
ॐ बदर्याश्रमभूषणाय नमः |
ॐ घण्टाकर्णक्रियामौढ्यतोषिताय नमः |
पोम भक्तवत्सलाय नमः |
ॐ मुनिवृन्दादिभिर्ध्येयाय नमः |
ॐ घण्टाकर्णवरप्रदाय नमः || ७६० ||
ॐ तपश्चर्यापराय नमः |
ॐ चीरवाससे नमः |
ॐ पिङ्गजटाधराय नमः |
ॐ प्रत्यक्षीकृतभूतेशाय नमः |
ॐ शिवस्तोत्रे नमः |
ॐ शिवस्तुताय नमः |
ॐ कृष्णास्वयंवरालोककौतुकिने नमः |
ॐ सर्वसम्मताय नमः |
ॐ बलसंरम्भशमनाय नमः |
ॐ बलदर्शितपाण्डवाय नमः || ७७० ||
ॐ यतिवेषार्जुनाभीष्टदायिने नमः |
ॐ सर्वात्मगोचराय नमः |
ॐ सुभद्राफाल्गुनोद्वाहकर्त्रे नमः |
ॐ प्रीणितफाल्गुनाय नमः |
ॐ खाण्डवप्रीणितार्चिष्मते नमः |
ॐ मयदानवमोचनाय नमः |
ॐ सुलभाय नमः |
ॐ राजसूयार्हाय नमः |
ॐ युधिष्ठिरनियोजकाय नमः |
ॐ भिमार्दितजरासन्धाय नमः || ७८० ||
ॐ मागधात्मजराज्यदाय नमः |
ॐ राजबन्धननिर्मोक्त्रे नमः |
ॐ राजसूयाग्रपूजनाय नमः |
ॐ चैद्याद्यसहनाय नमः |
ॐ भीष्मस्तुताय नमः |
ॐ सात्वतपूर्वजाय नमः |
ॐ सर्वात्मने नमः |
ॐ अर्थसमाहर्त्रे नमः |
ॐ मन्दराचलधारकाय नमः |
ॐ यज्ञावताराय नमः || ७९० ||
ॐ प्रह्लादप्रतिज्ञापरिपालकाय नमः |
ॐ बलियज्ञसभाध्वंसिने नमः |
ॐ दृप्तक्षत्रकुलान्तकाय नमः |
ॐ दशग्रीवान्तकाय नमः |
ॐ जेत्रे नमः |
ॐ रेवतीप्रेमवल्लभाय नमः |
ॐ सर्वावताराधिष्ठात्रे नमः |
ॐ वेदबाह्यविमोचनाय नमः |
ॐ कलिदोषनिराकर्त्रे नमः |
ॐ दशनाम्ने नमः || ८०० ||
ॐ दृढव्रताय नमः |
ॐ अमेयात्मने नमः |
ॐ जगत्स्वामिने नमः |
ॐ वाग्मिने नमः |
ॐ चैद्यशिरोहराय नमः |
ॐ द्रौपदीरचितस्तोत्राय नमः |
ॐ केशवाय नमः |
ॐ पुरषोत्तमाय नमः |
ॐ नारायणाय नमः |
ॐ मधुपतये नमः || ८१० ||
ॐ माधवाय नमः |
ॐ दोषवर्जिताय नमः |
ॐ गोविन्दाय नमः |
ॐ पुण्डरीकाक्षाय नमः |
ॐ विष्णवे नमः |
ॐ मधुसूदनाय नमः |
ॐ त्रिविक्रमाय नमः |
ॐ त्रिलोकेशाय नमः |
ॐ वामनाय नमः |
ॐ श्रीधराय नमः || ८२० ||
ॐ पुंसे नमः |
ॐ हृषीकेशाय नमः |
ॐ वासुदेवाय नमः |
ॐ पद्मनाभाय नमः |
ॐ महाह्रदाय नमः |
ॐ दामोदराय नमः |
ॐ चतुर्व्यूहाय नमः |
ॐ पाञ्चालीमानरक्षणाय नमः |
ॐ शाल्वघ्नाय नमः |
ॐ समरश्लाघिने नमः || ८३० ||
ॐ दन्तवक्त्रनिबर्हणाय नमः |
ॐ दामोदरप्रियसखाय नमः |
ॐ पृथुकास्वादनप्रियाय नमः |
ॐ घृणिने नमः |
ॐ दामोदराय नमः |
ॐ श्रीदाय नमः |
ॐ गोपीपुनरवेक्षकाय नमः |
गोपिकामुक्तिदाय नमः |
ॐ योगिने नमः |
ॐ दुर्वासस्तृप्तिकारकाय नमः || ८४० ||
ॐ अविज्ञातव्रजाकीर्णपाण्डवालोकनाथ नमः |
ॐ जयिने नमः |
ॐ पार्थसारथ्यनिरताय नमः |
ॐ प्राज्ञाय नमः |
ॐ पाण्डवदौत्यकृते नमः |
ॐ विदुरातिथ्यसंतुष्टाय नमः |
ॐ कुन्तीसन्तोषदायकाय नमः |
ॐ सुयोधनतिरस्कर्त्रे नमः |
ॐ दुर्योधनविकारविदे नमः |
ॐ विदुराभिष्टुताय नमः || ८५० ||
ॐ नित्याय नमः |
ॐ वार्ष्णेयाय नमः |
ॐ मङ्गलात्मकाय नमः |
ॐ पञ्चविंशतिदेहभाजे नमः |
ॐ चतुर्विंशतिदेहभाजे नमः |
ॐ सर्वानुग्राहकाय नमः |
ॐ सर्वदाशार्हसततार्चिताय नमः |
ॐ अचिन्त्याय नमः |
ॐ मधुरालापाय नमः |
ॐ साधुदर्शिने नमः || ८६० ||
ॐ दुरासदाय नमः |
ॐ मनुष्यधर्मानुगताय नमः |
ॐ कौरवेन्द्रक्षयेक्षिताय नमः |
ॐ उपेन्द्राय नमः |
ॐ दानवारातये नमः |
ॐ उरुगीताय नमः |
ॐ महाद्युतये नमः |
ॐ ब्रह्मण्यदेवाय नमः |
ॐ श्रुतिमते नमः |
ॐ गोब्राह्मणहिताशयाय नमः || ८७० ||
ॐ वरशीलाय नमः |
ॐ शिवारम्भाय नमः |
ॐ सुविज्ञानविमूर्तिमते नमः |
ॐ स्वभावशुद्धाय नमः |
ॐ सन्मित्राय नमः |
ॐ सुशरण्याय नमः |
ॐ सुलक्षणाय नमः |
ॐ धृतराष्ट्रगताय नमः |
ॐ दृष्टिप्रदाय नमः |
ॐ कर्णविभेदनाय नमः || ८८० ||
ॐ प्रतोदधृते नमः |
ॐ विश्वरुपविस्मारितधनञ्जयाय नमः |
ॐ सामगानप्रियाय नमः |
ॐ धर्मधेनवे नमः |
ॐ वर्णोत्तमाय नमः |
ॐ अव्ययाय नमः |
ॐ चतुर्युगक्रियाकर्त्रे नमः |
ॐ विश्वरुपप्रदर्शकाय नमः |
ॐ ब्रह्मबोधपरित्रातपार्थाय नमः |
ॐ भीष्मार्थचक्रभृते नमः || ८९० ||
ॐ अर्जुनायासविध्वंसिने नमः |
ॐ कालदंष्ट्राविभूषणाय नमः |
ॐ सुजातानन्तमहिम्ने नमः |
ॐ स्वप्नव्यापारितार्जुनाय नमः |
ॐ अकालसन्ध्याघटनाय नमः |
ॐ चाक्रान्तरितभास्कराय नमः |
ॐ दुष्टप्रमथनाय नमः |
ॐ पार्थप्रतिज्ञापरिपालकाय नमः |
ॐ सिन्धुराजशिरःपातस्थानवक्त्रे नमः |
ॐ विवेकदृशे नमः || ९०० ||
ॐ सुभद्राशोकहरणाय नमः |
ॐ द्रोणोत्सेकादिविस्मिताय नमः |
ॐ पार्थमन्युनिराकर्त्रे नमः |
ॐ पाण्डवोत्सवदायकाय नमः |
ॐ अङ्गुष्ठाक्रान्तकौन्तेयरथचक्राय नमः |
ॐ अहिशीर्षजिते नमः |
ॐ कालकोपप्रशमनाय नमः |
ॐ भीमसेनजयप्रदाय नमः |
ॐ अश्वत्थामवधायासत्रातपाण्डुसुताय नमः |
ॐ कृतिने नमः || ९१० ||
ॐ इषीकास्त्रप्रशमनाय नमः |
ॐ द्रौणिरक्षाविचक्षणाय नमः |
ॐ पार्थापहारितद्रौणिचूडामणये नमः |
ॐ अभङ्गुराय नमः |
ॐ धृतराष्ट्रपराभृष्टभीमप्रतिकृतिस्मयाय नमः |
ॐ भीष्मबुद्धिप्रदाय नमः |
ॐ शान्ताय नमः |
ॐ शरच्चन्द्रनिभाननाय नमः |
ॐ गदाग्रजन्मने नमः |
ॐ पाञ्चालीप्रतिज्ञापरिपालकाय नमः || ९२० ||
ॐ गान्धारीकोपदृग्गुत्पधर्मसूनवे नमः |
ॐ अनामयाय नमः |
ॐ प्रपन्नार्तिभयच्छेत्रे नमः |
ॐ भीष्मशल्यव्यथापहाय नमः |
ॐ शान्ताय नमः |
ॐ शान्तनवोदीर्णाय नमः |
ॐ सर्वधर्मसमाहिताय नमः |
ॐ स्मारितब्रह्मविद्यार्थप्रीतपार्थाय नमः |
ॐ महास्त्रविदे नमः |
ॐ प्रसादपरमोदाराय नमः || ९३० ||
ॐ गाङ्गेयसुगतिप्रदाय नमः |
ॐ विपक्षपक्षक्षयकृते नमः |
ॐ परीक्षित्प्राणरक्षणाय नमः |
ॐ जगद्गुरवे नमः |
ॐ धर्मसूनोर्वाजिमेधप्रवर्तकाय नमः |
ॐ विहितार्थाय नमः |
ॐ आप्तसत्काराय नमः |----
ॐ मासकात्परिवर्तदाय नमः |
ॐ उत्तङ्कहर्षदात्मीयदिव्यरुपप्रदर्शकाय नमः |
ॐ जनकावगतस्वोक्तभारताय नमः || ९४० || -
ॐ सर्वभावनाय नमः |
ॐ असोढ्यादवोद्रेकाय नमः |
ॐ विहिताप्तादिपूजनाय नमः |
ॐ समुद्रस्थापिताय नमः |
ॐ आश्चर्यमुसलाय नमः |
ॐ वृष्णिवाहकाय नमः |
ॐ मुनिशापायुधाय नमः |
ॐ पद्मासनादित्रिदशार्थिताय नमः |
ॐ सृष्टिप्रत्यवहारोत्कटाय नमः |
ॐ स्वधामगमनोत्सुकाय नमः || ९५० ||
ॐ प्रभासालोकनोद्युक्ताय नमः |----
ॐ नानाविधनिमित्तकृते नमः |
ॐ सर्वयादवसंसेव्याय नमः |
ॐ सर्वोत्कृष्टपरिच्छदाय नमः |
ॐ वेलाकाननसञ्चारिणे नमः |
ॐ वेलानिलहृतश्रमाय नमः |
ॐ कलात्मने नमः |
ॐ यादवाय नमः |
ॐ अनन्ताय नमः |
ॐ स्तुतिसंतुष्टमानसाय नमः || ९६० ||
ॐ द्विजलोकनसन्तुष्टाय नमः |
ॐ पुण्यतीर्थमहोत्सवाय नमः |
ॐ सत्काराह्लादिताशेषभूसुराय नमः |
ॐ सुरवल्लभाय नमः |
ॐ पुण्यतीर्थाप्लुताय नमः |
ॐ पुण्याय नमः |
ॐ पुण्यदाय नमः |
ॐ तीर्थपावनाय नमः |
ॐ विप्रसात्कृतगोकोटये नमः |
ॐ शतकोटिसुवर्णदाय नमः || ९७० ||
ॐ स्वमायामोहिताशेषवृष्णिवीराय नमः |
ॐ विशेषविदे नमः |
ॐ जलजायुधनिर्देष्ट्रे नमः |
ॐ स्वात्मावेशितयादवाय नमः |
ॐ देवताभीष्टवरदाय नमः |
ॐ कृतकृत्याय नमः |
ॐ प्रसन्नधिये नमः |
ॐ स्थिरशेषायुतबलाय नमः |
ॐ सहस्त्रफणिवीक्षणाय नमः |
ॐ ब्रह्मवृक्षवरच्छायासीनाय नमः || ९८० ||
ॐ पद्मासनस्थिताय नमः |
ॐ प्रत्यगात्मने नमः |
ॐ स्वभावार्थाय नमः |
ॐ प्रणिधानपरायणाय नमः |
ॐ व्याधेषुविद्धपूज्यांन्धये नमः |-------
ॐ निषादभयमोचनाय नमः |
ॐ पुलिन्दसुगतिप्रदाय नमः |
ॐ दारुकार्पितपार्थादिकरणीयोक्तये नमः |
ॐ ईशित्रे नमः || ९९० ||
ॐ दिव्यदुन्दुभिसंयुक्ताय नमः |
ॐ पुष्पवृष्टिप्रपूजिताय नमः |
ॐ पुराणाय नमः |
ॐ परमेशानाय नमः |
ॐ पूर्णभूम्ने नमः |------
ॐ परिष्टुताय नमः |
ॐ आद्यपतये नमः |
ॐ परस्मै ब्रह्मणे नमः |
ॐ परमात्मने नमः |
ॐ परात्परस्मै नमः || १००० ||
|| इति श्री विष्णुधर्मोत्तरपुराणे श्रीकृष्णसहस्त्रनामावलिः सम्पूर्णा |
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