कालसर्प योग
कालसर्प योग |
क्या होता है काल सर्प दोष ?
क्या यह महाभयंकर दोष है ?
कैसे बनता है कुण्डली में काल सर्प योग ?
किस दिन काल सर्प दोष की पूजा करनी चाहिए ?
काल सर्प योग की आपके जीवन में क्या असर होती है ?
कालसर्प योग का सही और शास्त्रोक्त निवारण क्या है ?
क्या होता है काल सर्प दोष ?
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार अधिदेवता और प्रत्यधिदेवता के पूजन से कालसर्प दोष की शांति की जाती है |
राहु के अधिदेवता काल है और प्रत्यधिदेवता सर्प है इसलिए इसे कालसर्प योग कहते है |
और एक प्रकार से काल यानी समय
सर्प यानी जैसे सर्प की चाल होती है वैसा समय जब मनुष्य का चल रहा हो वो |
कैसे बनता है कुण्डली में काल सर्प योग ?
जब जन्मकुण्डली में राहु और केतु के बीच में ही सभी ग्रह स्थित होते है तो उसे कालसर्प योग कहते है |
काल सर्प योग की आपके जीवन में क्या असर होती है ?
काल सर्प योग होने से जीवन में अनेक प्रकार की समस्याओ का सामना करना पड़ता है |
- जैसे हर जगह पे निष्फलता प्राप्त होती है |
- विद्यार्थी अवस्था में विद्या प्राप्ति में विलम्ब या निष्फलता मिलती है |
- विवाह होने में विलम्ब या लग्न में भी सफलता न मिले |
- सोने में भी दिक्कत होती है |
- अकाल मृत्यु होने की संभावना रहती है |
- बुरे स्वप्न आते रहते है |
- विश्वाश्घात होने की पूरी संभावना रहती है |
- सामाजिक मान सन्मान नहीं मिलता |
- गर्भ गिरने की सम्भावना रहती है |
- सरकारी झमलो में फसने की संभावना रहती है |
- गृह कलह होता रहता है |
- मानसिक अशांति रहती है |
- मन अशांत रहता है |
- नौकरी और व्यापार में पूरी तरह से सफलता नहीं मिलती |
- संतान सुख में विलम्ब रहता है |
- पानी से डर लगना |
- शत्रु से पीड़ित रहना |
आदि आदि कालसर्प के नकारात्मक लक्षण है |
कालसर्प योग का सही और शास्त्रोक्त निवारण क्या है ?
राहु के सम्पूर्ण मंत्र जाप करवाए |
केतु के सम्पूर्ण जाप करवाए |
नवनाग स्तोत्र के पाठ करे या करवाए |
महामृत्युञ्जय मंत्र का अनुष्ठान करवाए |
शिवजी की उपासना करे |
बुधवार का व्रतोपवास करे |
|| कालसर्प योग सम्पूर्ण ||
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Jyotish